जालंधर (ब्यूरो):- पंजाब के 1200 करोड़ रुपए के सिंचाई घोटाले के मामले में आरोपी रिटायर्ड IAS सर्वेश कौशल और केबीएस सिद्धू की याचिका पर आज पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट में सुनवाई होगी। आरोपियों ने याचिका में मामले में दोबारा जांच शुरू करने और उनके खिलाफ जारी लुक आउट सर्कुलर रद्द करने की मांग की है। पिछली सुनवाई में हाईकोर्ट ने अगले आदेशों तक आरोपियों पर किसी भी प्रकार की कार्रवाई पर रोक लगाई थी। लेकिन सर्वेश कौशल को विजिलेंस जांच में शामिल होने के आदेश दिए गए थे। बीते दिनों विजिलेंस टीम ने उक्त दोनों रिटायर्ड अधिकारियों से पूछताछ की थी।
पंजाब विजिलेंस की रडार पर उक्त दोनों अधिकारियों के अलावा रिटायर्ड IAS काहन सिंह पन्नू समेत पूर्व मंत्री जनमेजा सिंह सेखों और पूर्व मंत्री शरणजीत सिंह ढिल्लों भी हैं। हालांकि विजिलेंस सभी आरोपियों से पूछताछ कर चुकी है और अब इनकी संपत्ति की क्रॉस जांच भी की जा रही है। उक्त रिटायर्ड IAS अधिकारियों से इनके सेवा काल के दौरान टेंडर प्रक्रिया से लेकर पेमेंट और फाइल क्लीयरिंग से संबंधित सवाल-जवाब भी किए जा चुके हैं।
पंजाब के सिंचाई विभाग में 1200 करोड़ रुपए का यह घोटाला अकाली सरकार के कार्यकाल में हुआ था। उस दौरान काहन सिंह पन्नू संबंधित विभाग के प्रिंसिपल सेक्रेटरी थे। उसी दौरान टेंडर प्रोसेस और उससे संबंधित फाइल क्लीयरिंग के प्रोसेस को मंजूरी प्रदान की गई थी।
आरोप हैं कि गुरिंदर सिंह नामक एक ही ठेकेदार को फायदा पहुंचाने के मकसद से प्रोसेस को तेजी से निपटाया गया। विजिलेंस इस मामले में जांच कर रही है। गौरतलब है कि बीते कई साल से इस घोटाले को लेकर आरोप-प्रत्यारोप और जांच का सिलसिला जारी है लेकिन यह मामला अभी तक किसी अंतिम नतीजे पर नहीं पहुंच सका है।