You are currently viewing न लगवाएं कोवैक्सीन अगर….
Bharat Biotec

न लगवाएं कोवैक्सीन अगर….

भारत बायोटेक ने लोगों को किया आगाह

मान्यवर :- देश में कोरोना के खिलाफ वैक्सीनेशन शुरू हो चुका है। सरकार की ओर से दो वैक्सीनों को आपात स्थिति में इस्तेमाल की मंजूरी दी गई है। तीसरे चरण में जारी कोवैक्सीन के ट्रायल को देखते हुए कंपनी ने टीका लगवाने वाले लोगों के लिए अब फैक्ट शीट जारी कर कई सावधानियों का पालन करने को कहा है।

ऐसे लोग न लगवाएं कोवैक्सीन

कोवैक्सीन बनाने वाली कंपनी भारत बायोटेक ने विस्तार से फैक्ट शीट जारी कर कहा है कि जिनकी प्रतिरोधक क्षमता कमजोर है या जो ऐसी दवाई ले रहे हैं जिसका प्रतिरक्षा प्रणाली पर असर हो सकता है, उन्हें ऐंटी-कोविड वैक्सीन कोवैक्सीन न लगवाने की सलाह दी जाती है।इससे पहले सरकार ने कहा था कि कमजोर प्रतिरक्षा वाले मरीज भी इस वैक्सीन को ले सकते हैं। हालांकि ऐसा समझा गया था कि इन लोगों में यह कम प्रभावी रहेगा। आमतौर पर कीमोथेरेपी करा रहे कैंसर पेशेंट्स, एचआईवी पॉजिटिव लोग और स्टेरॉयड लेने वाले इस श्रेणी में आते हैं। वैसे तो, ऐसे मरीजों में संक्रमण का जोखिम ज्यादा रहता है पर डॉक्टरों का कहना है कि आमतौर पर इन लोगों में वैक्सीनों का असर काफी कम होता है।

बीमार, बुखार, एलर्जी, गर्भवती… ऐसे लोग भी ध्यान दें

भारत बायोटेक ने ब्लीडिंग डिसऑर्डर वाले लोगों को वैक्सीन लगवाने से बचने की सलाह दी है। इनके अलावा जो लोग गंभीर रूप से बीमार हैं, बुखार है या किसी तरह की एलर्जी का इतिहास रहा है, गर्भवती या बच्चों को दूध पिलाने वाली माताएं टीका लगवाने से दूरी बनाएं। फैक्ट शीट में सुझाव दिया गया है कि अगर टीका लगवाने वाले को कोविड-19 के कोई लक्षण दिखते हैं तो इसे प्रतिकूल प्रभाव के तौर पर दर्ज किया जाना चाहिए। इसका प्रूफ आरटी-पीसीआर टेस्ट का परिणाम होगा।

क्या कोवैक्सीन से गंभीर एलर्जिक रीएक्शन हो सकता है ?

डॉक्टरों का कहना है कि देशभर से मामूली प्रतिकूल प्रभाव मामले सामने आने के मद्देनजर यह फैक्टशीट आई है। विशेषज्ञों ने कहा है कि वैक्सीन लगवाने वाले व्यक्ति को कोरोना हो सकता है पर संक्रमण मामूली होगा। कंपनी ने कहा, ‘इस बात की संभावना बिल्कुल कम है कि भारत बायोटेक कोविड-19 वैक्सीन (कोवैक्सीन) से कोई गंभीर एलर्जिक रीएक्शन हो… ऐसा दुर्लभ होता है।’ आगे कहा गया है कि गंभीर एलर्जी वाले रीएक्शन में सांस लेने में तकलीफ, चेहरे और गले में सूजन, दिल की धड़कनें तेज, पूरे शरीर पर चकत्ते और कमजोरी शामिल है।

फैक्ट शीट में कहा गया है कि वैक्सीनेटर/अधिकारी को अपनी मेडिकल परिस्थितियों के बारे में जरूर बताइए। यह भी बताइए कि क्या आप लगातार किसी बीमारी के लिए दवा ले रहे हैं? अगर हां, तो कब से और किस हालात के लिए।

सरकार ने खरीदी है 55 लाख खुराक

कोवैक्सीन के क्लिनिकल असर का अभी पूरी तरह से पता चलना बाकी है और इसका तीसरे चरण का ट्रायल चल रहा है। ऐसे में यह महत्वपूर्ण है कि वैक्सीन लगवाने के साथ ही दूसरे ऐहतियात का भी पालन किया जाए। सरकार ने कोवैक्सीन की 55 लाख खुराक खरीदी है जिसे 12 राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों में बांटा गया है।

Bharat Biotec